रंगा ने ‘अंधारकाळ’ का बेजोड़ अनुवाद कर राजस्थानी पाठकों को सौगात दी : डॉ. मदन सैनी
कीर्तिशेष लक्ष्मीनारायण रंगा की ९२वीं जयंती पर तीन दिवसीय ‘सृजन-सौरम-हमारे बाऊजी’ समारोह का हुआ समापन बीकानेर // प्रज्ञालय संस्थान द्वारा देश के ख्यातनाम साहित्यकार, रंगकर्मी, चिंतक एवं शिक्षाविदï् कीर्तिशेष लक्ष्मीनारायण रंगा की ९२वीं जयंती के अवसर पर तीन दिवसीय ‘सृजन सौरम-हमारे बाऊजी’ समारोह के तीसरे दिन आज कीर्तिशेष लक्ष्मीनारायण रंगा की महत्वपूर्ण अनुवाद कृति का […]
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